SS मेडिकल कॉलेज: निरीक्षण करने पहुंची राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग की टीम

रीवा एसएस मेडिकल कॉलेज के शिशु रोग विभाग में पीजी की सीटों में इजाफा किया जाना है। एक सीट बढ़ाने के लिए गत वर्ष मेडिकल कॉलेज प्रबंधन ने एनएमसी (नेशनल मेडिकल कमीशन) यानी राष्टÑीय चिकित्सा आयोग के पास प्रस्ताव भेजा गया था। इसी के आधार एनएमसी के सदस्य डॉ. जेएन डेहरा विभागाध्यक्ष शिशु रोग विभाग एससीबी मेडिकल कॉलेज कटक उड़ीसा निरीक्षण करने रीवा पहुंचे थे। 

उन्होंने मेडिकल कॉलेज के साथ-साथ गांधी मेमोरियल अस्पताल में संचालित बाल्य एवं शिशु रोग विभाग में व्यवस्थाओं का जायजा लिया है। बारीकी से लैब, वार्ड, रिकार्ड रूम, क्लॉस रूम समेत अन्य महत्वपूर्ण कक्षों का निरीक्षण किया। इस दौरान मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. मनोज इंदूलकर, अधीक्षक डॉ. एसपी गर्ग एवं बाल्य एवं शिशु रोग विभागाध्यक्ष डॉ. नरेश बजाज मौजूद थे। एनएमसी के सदस्य सुबह 9 बजे से शाम करीब 5 बजे तक व्यवस्थाओं को परखते रहे। इसके बाद रिपोर्ट तैयार कर उसमें डीन के हस्ताक्षर कराया और आॅन लाइन एनएमसी को भेज दिया है। इसी रिपोर्ट के आधार पर राष्टÑीय चिकित्सा आयोग की कार्यकारिणी सीट वृद्धि पर निर्णय लेगी।

अभी संचालित हैं 12 सीट
मेडिकल कॉलेज के बाल्य एवं शिशु रोग विभाग में पीजी यानी एमडी की 12 सीटे संचालित हो रही हैं। लेकिन यह नाकाफी साबित हो रही हैं। ऐसे में मेडिकल कॉलेज प्रबंधन ने गत वर्ष एक और सीट बढ़ाने के लिए प्रस्ताव एनएमसी के पास भेजा था। जिसका निरीक्षण एनएमसी सदस्य द्वारा शुक्रवार को किया गया है। रिपोर्ट ठीक रही तो पीजी की 13 सीटों पर इस वर्ष से प्रवेश दिया जाएगा।

दो वर्ष पूर्व 4 से बढ़कर हुई थी 12 सीट
पहले श्यामशाह मेडिकल कॉलेज के शिशु रोग विभाग में पीजी एमडी की 4 सीटे संचालित हो रही थी, जबकि 8 सीटी डीसीएच यानी डिप्लोमा की थी। दो वर्ष पूर्व डीसीएच की 8 सीटों को पीजी एमडी में तब्दील कर दिया गया था। लिहाजा तब 12 सीटे हो गई थीं। लेकिन इसके बाद भी चिकित्सकों की कमी पड़ रही है। यही वजह है कि कॉलेज प्रबंधन लगातार सीट बढ़ाने के प्रयास में जुटा हुआ है।