जिले में खोली जाएंगी 42 नवीन औद्योगिक इकाइयां
रीवा | सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योगों की स्थापना में रीवा जिले के विभिन्न स्थानों में नई 42 औद्योगिक इकाइयां खोली जाएंगी। गुरुवार को दो इकाइयों का लोकार्पण भी किया जाएगा। जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र से मिली जानकारी में बताया गया है कि दिसम्बर तक जिले में चिन्हित की गई औद्योगिक इकाइयां शुरू हो जाएंगी, जिनमें साढ़े 12 हजार बेरोजगार युवाओं को रोजगार मुहैया कराया जाएगा।
जिले में आगामी दिसम्बर माह तक 42 उद्योग स्थापित होंगे। इन उद्योगों में 235.41 करोड का निवेश होकर 12500 युवाओं को रोजगार मिलेगा। जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र के महाप्रबंधक यूबी तिवारी ने बताया कि जिले में दो बड़े उद्योग भी स्थापित किये जायेंगे। आज 8 अप्रैल को आयोजित प्रदेशव्यापी कार्यक्रम में जिले के तीन उद्योगों का लाकार्पण किया जा रहा है, इसमें श्रीकृष्णा इंडस्ट्री सिरमौर, मेसर्स पंचशील ब्रिक्स भुण्डहा एवं मेसर्स लक्ष्मी राइस मिल का लोकार्पण होगा। जिले में ऐसे 09 उद्योग उत्पादन प्रारंभ कर चुके हैं। इनमें 23 करोड पूंजी निवेश हुआ है, वहीं 10 उद्योगों में अप्रैल - मई माह से उत्पादन शुरू हो जायेगा, जिनमें रुपए 75.19 करोड पूंजी निवेश होगा।
नए उद्योगों के लिए भूमि की गई आरक्षित
जिले मे नवीन उद्योगों की स्थापना के लिए घूमा कटरा में 56.58 हेक्टेयर भूमि आरक्षित की गई है जहां फूड प्रोसेसिंग का क्लस्टर तैयार किया जा रहा है। यहां यह उल्लेखनीय है कि घूमा - कटरा की भूमि उत्तर प्रदेश के उद्यमियों का मप्र में हो रहे पलायन को ध्यान में रखकर किया गया है क्योंकि मध्यप्रदेश की औद्योगिक नीति 2019 अत्यधिक आकर्षक होने के कारण उप्र के उद्यमी मप्र में उद्योग स्थापित करना चाहते हैं। विभाग अभी भी नवीन औद्योगिक क्षेत्र हेतु अन्य जमीन की तलाश में है। महाप्रबंधक, जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र ने रीवा में बढ़ते हुए औद्योगीकरण हेतु जिले के निवेशकों, पूंजीपतियों, उद्यमियों एवं जनप्रतिनिधियों को प्रमुख कारक निरूपित किया है।
235 करोड़ का होगा पूंजी निवेश
जिला स्तरीय कार्यक्रम 8 अप्रैल को पूर्वान्ह 9.30 बजे से स्थानीय वृन्दावन गार्डेन में वरिष्ठ जनप्रतिनिधियों, कलेक्टर एवं उद्यमियों की उपस्थिति में आयोजित होगा। इस दौरान पूर्व मंत्री एवं रीवा विधायक राजेन्द्र शुक्ल भी उपस्थित रहेंगे। महाप्रबंधक, जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र ने बताया कि इन समस्त उद्योगों में पूंजी निवेश 235 करोड तथा 12500 व्यक्तियों को रोजगार मिलेगा। जिले में औद्योगिक वातावरण तीव्र गति से निर्मित रहा है।
सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्यम आर्थिक विकास के इंजन के रूप मे जाना जाता है। इन उद्यमों के विकास के लिये शासन द्वारा बनाई गई नीतियों का क्रियान्वयन जिला स्तर पर जिला व्यापार एवं उद्योग केन्द्र के माध्यम से किया जाता है तथा विभिन्न रियायतें प्रदान करते हुए उद्योग स्थापना में आने वाली समस्त समस्याओं का निराकरण जिला कलेक्टर के माध्यम से किया जाता है। जिले में सर्वाधिक वित्तीयकरण स्टेट बैंक आॅफ इंडिया की एसएमई शाखा द्वारा किये जाने से उद्यमी उत्साहित हैं।