मैहर के शारदा देवी मंदिर मामले की हुई सुनवाई: हाई कोर्ट ने कहा- कमिश्नर से करें शिकायत

सतना मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने जनहित याचिकाकर्ता को मैहर के सुप्रसिद्ध शारदा देवी मंदिर की समिति में नियम विरुद्ध नियुक्ति के मामले की शिकायत रीवा कमिश्नर से करने स्वतंत्र कर दिया है। मुख्य न्यायाधीश मोहम्मद रफीक व जस्टिस प्रकाश श्रीवास्तव की युगलपीठ ने व्यवस्था दी है कि रीवा कमिश्नर शिकायत प्राप्त होने के बाद विधिसम्मत तरीके से तीन माह के भीतर विवाद का निराकरण करेंगे।

कमेटी करती है संचालन 
सतना जिले की मैहर तहसील के ग्राम अरकंडी निवासी राजेश सिंह की ओर से जनहित याचिका दायर की गई। अधिवक्ता आशीष रावत ने कोर्ट को अवगत कराया कि मैहर मंदिर का संचालन मां शारदा देवी मैनेजिंग कमेटी करती है। कलेक्टर इसके पदेन अध्यक्ष हैं। इस समिति में नियमों को दरकिनार कर 2010 में विजय कुमार गंगवानी को टैक्स एडवाइजर नियुक्त कर दिया गया। इतना ही नही उसका वेतन धीरे-धीरे बढ़ाकर साढ़े 12 हजार रुपये कर दिया गया।

कुछ समय बाद गंगवानी को समिति द्वारा संचालित स्कूल का डायरेक्टर भी बना दिया गया। इस पद के लिए उसे अलग से 18 हजार रुपये वेतन दिया जा रहा है। 2010 व 2014 में इसकी शिकायत करने पर आॅडिटर ने इस पर आपत्ति जताई। इस पर डिप्टी कलेक्टर ने दोनों पदों पर नियुक्ति को एक ही मानते हुए नया आदेश पारित कर दिया। दोनों पद के लिए मिल रहे कुल वेतन को भी इस आदेश में उचित बताया गया।

इसी अनियमितता के खिलाफ जनहित याचिका दायर की गई। आग्रह किया गया कि अनावेदक गंगवानी को उक्त दोनों पदों से हटाने के निर्देश दिए जाएं। सुनवाई के बाद कोर्ट ने हुए रीवा कमिश्नर को जनहित याचिकाकर्ता की शिकायत पर विधि अनुसार कार्रवाई के निर्देश दिए।