विक्षोभ का असर: ठंड से राहत जारी रहने के आसार
सतना। राजस्थान में बने चक्रवातीय घेरे ने शहर से लेकर गांव तक के मौसम का मिजाज बदल दिया। पिछले कई दिनों से आसमान पर बादलों के छाए रहने की वजह से न्यूनतम तापमान 14.5 डिग्री पर पहुंच गया, जो सामान्य से 7 डिग्री अधिक रहा। इससे सुबह ठंड गायब हो गई। ज्यादा गर्म कपड़े पहनने की जरूरत नहीं पड़ रही थी। दिन भी ज्यादा ठंड रहने के आसार नहीं है। क्योंकि अभी चक्रवातीय घेरा कमजोर नहीं पड़ा है।
लंबे समय बाद कोहरा गायब
वर्षों बाद ऐसा पहली बार हुआ है जब नये साल के प्रवेश के दौरान न ही ठंड रही और न ही कोहरा। हां धुंध जरूर रही पर उसका असर भी कम ही दिखा। सोमवार को न्यूनतम तापमान भी साढ़े 14 डिग्री पहुंच गया पर यह पहली बार नहीं हुआ क्योंकि पिछले साल भी 4 जनवरी को न्यूनतम तापमान 13.9 डिग्री दर्ज हो चुका है। हां यह सही है कि जनवरी 2020 के पहले के सालों में 1997 से जनवरी की शुरूआत इतनी गर्म नहीं रही। इसके पहले के चार सालों में 4 जनवरी 2016 में शहर का न्यूनतम तापमान 8.4, 2017 में 10.5, 2018 में 4 डिग्री दर्ज हो चुका है। जबकि इस साल तो अभी तक के सीजन में एक भी दिन कोहरा नहीं पड़ा।
फिलहाल चढ़ा रहेगा पारे का पारा
मौसम के जानकारों का कहना है कि जम्मू कश्मीर में पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होने से राजस्थान में चक्रवातीय घेरा विकसित हो गया है। इसके प्रभाव से नये साल की शुरूआत से ही आसमान में बादलों का घेरा बना हुआ है। रोजाना सुबह बादलों का रंग बदलता है और किसानों को आशा होती है कि पानी गिरेगा पर बारिश नहीं हो रही। बादलों ने ठंड को गायब कर दिया। अब चक्रवातीय घेरा धीरे-धीरे कमजोर हो रहा है। जानकारों का कहना है कि फिलहाल कम से कम एक सप्ताह तक दिन और रात के तापमान में खास कमी के आसार कम ही हैं।