दसवीं, बारहवीं के प्री-बोर्ड की जगह होंगे दो रिवीजन टेस्ट
रीवा | कोरोना के कारण माध्यमिक शिक्षा मंडल को बार-बार बारहवीं और दसवीं की बोर्ड परीक्षा के लिए योजनाएं और तैयारियां बदलनी पड़ रही हैं। पता चला है कि इस बार दसवीं, बारहवीं के छात्रों की प्री-बोर्ड परीक्षाएं नहीं होंगी। हाल ही में माशिमं ने यह फैसला लिया है। छात्रों की बोर्ड परीक्षा की तैयारी के लिए प्री-बोर्ड की जगह दो रिवीजन टेस्ट होंगे, वह भी स्कूल में होंगे या ओपेन बुक यह स्पष्ट नहीं है। देखा जाए तो दसवीं और बारहवीं की भौतिक कक्षाएं संचालित हो रही हैं। ऐसे में यह संभावना है कि रिवीजन टेस्ट स्कूल में भी हो सकते हैं। समझने वाली बात यह है कि अगर परीक्षा के आयोजन में छात्रों के इकट्ठा होने से कोरोना का भय है तो वह भौतिक कक्षाओं के संचालन में भी है। हालांकि विभाग अब तक यह निर्णय नहीं ले पाया है कि टेस्ट और बोर्ड परीक्षा आॅनलाइन होगी या आॅफलाइन।
गौरतलब है कि माध्यमिक शिक्षा मंडल ने सत्र 2020-21 में दसवीं व बारहवीं की बोर्ड परीक्षाएं अप्रैल माह के अंत से कराने की घोषणा की है। कोविड-19 के चलते माशिमं ने सोशल डिस्टेंसिंग के साथ स्कूलों में पढ़ाई भी शुरू कराई है। जाहिर है कि परीक्षा को सिर्फ दो महीने का वक्त बचा है। ऐसे में प्री-बोर्ड परीक्षा आयोजित कराना संभव नहीं होगा। क्योंकि अब तक 30 प्रतिशत सेलेबस काटने के बाद भी पाठ्यक्रम पूरे नहीं हुए हैं। जितना समय प्री-बोर्ड परीक्षा आयोजित कराने में लगेगा उतने समय में अध्ययन-अध्यापन का कार्य किया जा सकता है। इस बात को समझते हुए माशिमं ने प्री-बोर्ड परीक्षा आयोजित कराने से इंकार कर दिया है और उसके बदले पहला रिवीजन टेस्ट जनवरी में और दूसरा रिवीजन टेस्ट फरवरी में कराने का फैसला लिया है। यह कहा जा सकता है कि यह रिवीजन टेस्ट ही प्री-बोर्ड परीक्षा है।
छात्रावास बंद, ग्रामीण छात्र नहीं पहुंच पा रहे स्कूल
कोरोना के चलते स्कूलों के छात्रावास को बंद रखने का निर्णय लिया गया है। मगर 9वीं से 12वीं की कक्षाएं भौतिक रूप से संचालित हो रही हैं। ऐसे में वह ग्रामीण छात्र जो अपने गांव से दूर हास्टल में रहकर स्कूल में पढ़ाई करते थे वह विद्यालय आकर पढ़ नहीं पा रहे हैं। क्योंकि रोजाना वह कई किलोमीटर का सफर तय नहीं कर सकते हैं और शहर में किराए का मकान लेकर स्कूल जाना उनके लिए संभव नहीं है। यही वजह है कि ग्रामीण छात्र अब तक पढ़ाई से वंचित हैं और उनके सेलेबस अधूरे रह जाने व रिजल्ट खराब हो जाने का डर बना हुआ है।
बोर्ड भेजेगा प्रश्न पत्र और कॉपियां
जनवरी और फरवरी में होने वाले रिवीजन टेस्ट के लिए प्रश्न पत्र माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी के मेल में भेजी जाएगी जो स्कूलों के प्राचार्यों को भेजी जाएगी और उसकी फोटोकॉपी कराकर स्कूल प्रबंधन को छात्रों में वितरित करना होगा। इसी के साथ कॉपियां भी बोर्ड द्वारा डाक के माध्यम से भेजी जाएंगी। जिन्हें छात्रों को बांटा जाएगा। अब छात्र कॉपी लेकर घर जा सकते हैं और प्रश्न हल कर सकते हैं या फिर स्कूल में बैठकर ही उन्हें रिवीजन टेस्ट देना है इस पर संशय बरकरार है।