वर्ड फ्लू से नहीं, हाइटेंशन लाइट की चपेट में आने से हुई कौओं की मौत

सतना | कोरोना वायरस के बाद अब वर्ड फ्लू ने भी तबाही मचानी शुरू कर दी है। हालांकि अभी सतना जिले में वर्ड फ्लू के एक भी केस सामने नहीं आए हैं। बताया गया कि रामपुर बाघेलान के ग्राम बकिया वैलों में दिनेश दाहिया के खेत में मृत कौआ की सूचना मिली थी। पशुपालन विभाग की टीम मौके पर पहुंंची।

टीम द्वारा इसकी जांच किए जाने पर सामने आया कि कौवे की मौत खेत के ऊपर से गुजरी हाइटेंशन लाइन की चपेट में आने से हुई है जिसकी जांच रिपोर्ट डा. अनुज प्रताप सिंह, डा. अरुण शुक्ला ने उप संचालक को भेजी है, वहीं पशुपालन विभाग के डायरेक्टर आरके रोकड़े ने वर्चुअल मीटिंग के माध्यम से उप संचालक  सहित विभागीय चिकित्सकों को संबंधित दिशा- निर्देश दिए हैं। 

जिला पॉलीक्लीनिक में बढ़ने लगे केस 
वर्ड फ्लू के फैल रहे संक्रमण को लेकर लोगों में दहशत दिखने लगी है। बुधवार को जिला पॉलीक्लीनिक में मुर्गियों में हो रही बीमारी को लेकर हितग्राही पहुंच रहे हैं। मुर्गियों में सर्दी, दस्त व सुस्ती की बीमारी को लेकर तीन केस पहुंचे थे। बताया गया कि राजकिशोर शारदा नगर साइडिंग पिछले तीन दिन में दो-तीन मुर्गियों की हुई मौत व बीमार मुर्गीे को लेकर पॉलीक्लीनिक पहुंचे जहां डा. बृहस्पति भारती ने बीमार मुर्गी का इलाज किया देखा, वहीं मो. अहमद व मो. शाह नजीराबाद से भी हितग्राही मुर्गियां लेकर पहुंचे थे। पशु पालन विभाग के चिकित्सकों का कहना है कि अभी प्रदेश में कौओं के अलावा वर्ड फ्लू मुर्गियों में देखने को नहीं मिला है। 

चिकन और अंडे से खतरा नहीं  
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. एके अवधिया ने बताया कि ऐसे लोग सतर्क रहें जो मुर्गी पालन या मुर्गी व्यवसाय के क्षेत्र में कार्यरत हैं या जो पक्षियों के संपर्क में आते हैं तो ऐसे लोगों को इन्फ्लूएंजा जैसे लक्षण सर्दी, जुखाम, बुखार, सांस लेने में तकलीफ होने पर तत्काल नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र में जाकर जांच कराएं। संचालक पशुपालन के अनुसार मुर्गियों में बर्ड फ्लू वायरस एच5एन8 अभी तक नहीं पाया गया है। चिकन तथा अंडों आदि को अच्छी तरह पकाकर उपयोग किया जा सकता है। इनसे मानव स्वास्थ्य को किसी प्रकार का खतरा नहीं है।