दिव्य विचार: धीरज से सब ठीक होगा- मुनिश्री प्रमाण सागर जी महाराज
मुनि श्री प्रमाण सागर जी कहते है कि मैं आपसे केवल इतना कहना चाहता हूँ, जब भी जीवन में कोई ऐसे प्रतिकूल प्रसंग आएँ तो आप धीरज रखिए, धीरज रखें और धीरज रखने के लिए क्या करना है, आप यह सोचिए कि ये थोड़ी देर की बात है। पहली बात क्या सोचें? थोड़ी देर की बात है। कोई भी कितनी बड़ी विपत्ति क्यों न आए, स्थायी नहीं है, चली जाएगी, कुछ पल में बदल जाएगा। रात काली हो, कितनी भी काली हो लम्बी हो सकती है, रात के बाद तो प्रभात होना ही है। थोड़ी देर की बात है, चलो ठीक है, इट बिल बी पास्ड। सब पार हो जाएगा, सब पार हो जाएगा, थोड़ी देर की बात है। जब आपको कहीं थोड़ी देर के लिए कोई बात कही जाए तो आप आसानी से कर लेते हैं।
- यहाँ से इंदौर जाना हो, एक-दो घण्टे का सफर है ट्रेन से और आपको रिजर्वेशन नहीं हो तो आप जाने को राजी हो जाओगे। चलो कोई बात नहीं है, घण्टे भर का रास्ता है, खड़े खड़े चले जाएँगे लेकिन यहाँ से दिल्ली जाना हो, रात भर का सफर हो, बिना बर्थ के जाना चाहेंगे क्या? नहीं, हमें कुछ चाहिए, लम्बी यात्रा है, इतना कष्ट हम नहीं सह सकते लेकिन जब थोड़ी देर की बात आती है, कोई बात नहीं घण्टे भर में पहुँच जाएँगे, चले जाएँगे। बस मैं आपसे यही कहता हूँ, तुम्हारे जीवन के सफर में हो भी मुश्किलें हैं, सब थोड़ी देर की हैं। यह अपने दिमाग में बैठा लो, पार हो जाओगे और तुम उस समय धैर्य रखने में समर्थ हो जाओगे। दूसरी बात, जब भी आपके पास कोई विपत्ति आए, धैर्य रखने के लिए थोड़ा सकारात्मक सोचें। अपने जीवन में कोई भी विपत्ति आए, यह सोचिए, विपत्ति नहीं आई है, यह मेरे लिए एक सीख देने का आधार बनी है, नुकसान में भी नसीहत बनी है, हमें ये मजबूती देगी जैसे लोहे को तपाने जब उस पर घन का प्रहार होता है तो उसके बाद लोहे की उपयोगिता बढ़ती है।